संवाददाता – रोहित साहू
कोटा – आकस्मिक मौत के मामले में बेलगहना के दो युवकों द्वारा जमकर आदिवासी क्षेत्रों के ग्रामीणों से की जा रही ठगी,10 से 20 हजार रुपये दशगात्र कार्यक्रम के लिए उनके हाथ मे थमाया जाता हैं उसके बाद बाकी 4 लाख रुपये अंदर कर लेते है मौत चाहे किसी भी कारण वश हो चाहे हार्ट अटैक हो या किसी बीमारी से उसकी मौत हो,डॉक्टर से मिली भगत कर पोस्टमार्टम कर मामले को सर्पदंश बना दिया जाता हैं और किसी को पता भी नही चलता, बेलगहना क्षेत्र में लंबे समय से चलता आ रहा है आखिर उन गरीब और बेसहारा लोगों के साथ धोखेबाजी कब तक चलेगी, सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार 3 से 4 माह पूर्व ग्राम पुडु और ग्राम बहेरामुड़ा में एक युवक की हार्ट अटैक से मौत हो गई थी जिसको डॉक्टर से मिलीभगत कर सर्पदंश बना दिया गया था बेलगहना क्षेत्र के दोनों युवक जब सुबह से उठते हैं तो सोचते हैं कि किसी की मौत हो जाए और मामले को सर्पदंश या आकस्मिक मृत्यु बना दिया जाये मामले को सर्पदंश बनाने में माहिर शासन के पैसे का किया जा रहा है दुरुपयोग जल्द ही इस मामले में बड़ी खुलासा होगी। अगले अंक मे नाम सहित लगेगी खबर,डॉक्टर से फोन के माध्यम से जानकारी ली जाती है तो उसका कहना है कि ऑफिस में आकर मिलो ऐसा जवाब आता है आख़िर उनको भी तो दलालों के द्वारा हिसा दिया जाता है,इस मामले में दोनों युवकों के खिलाफ एफ आई आर दर्ज भी हो सकती है।सूत्रों से प्राप्त जानकारी के अनुसार बेलगहना क्षेत्र के डोंगरीपारा मे एक बच्ची की तालाब मे डूबने से मौत मामले मे परिजनों को पूरा पैसा नहीं दिया गया और दलाल के द्वारा कहां गया कि आपका घर बना कर दूंगा लेकिन अब तक मकान अधूरा है।
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